जिला बनाने के लिए महाबंद , गाड़ी में लगाई आग

विधानसभा चुनाव के पहले प्रदेश में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान व्दारा लगातार नए नए जिलों की घोषणा ने मंडला जिले में आंदोलनों को जन्म दे दिया है जिले के दो ब्लाक जो चार दशक पहले से जिले की मांग कर रहे थे अब यहां पर आंदोलन चरम पर पहुंच गया है मंडला के निवास तहसील को जिला बनाने की जनमाँग का लेकर दो दिवसीय बंद का आह्वान किया गया है जिसको लेकर रविवार से निवास नगर के सभी व्यापारिक प्रतिष्ठान पूर्ण रूप से बंद रहे है सोमवार को भी यह आंदोलन जारी रहा ज़हां गाड़ी में आग लगा कर विरोध जताया गया।

सौ साल पुरानी तहसील विकास से दूर

निवास तहसील जो 1984 में क्षेत्रफल की दृष्टि से प्रदेश की सबसे बड़ी तहसील हुआ करती थी इसी बात को ध्यान में रखते हुए पहली बार निवास को जिला बनाने का बात सरकार की तरफ से कहीं गई थी समय के साथ धीरे धीरे इसके राजस्व क्षेत्र को दूसरी तहसील का का निर्माण कर कम किया गया आज यह मात्र एक ब्लाक की तहसील बची है जाहिर है राजनैतिक नाकामी के चलते ही यह सब हुआ है दोषी दोनों प्रमुख दल भाजपा और कांग्रेस ही है। जिनके जनप्रतिनिधि और नेता खामोशी से क्षेत्र की दुर्गति देखते रहे हैं नगर के युवा संजय कहते हैं हमें इस बात से कोई गुरेज नहीं है कि सरकार की तरफ से किसी क्षेत्र का विकास किया गया मगर निवास के क्षेत्र से कुछ अलग किया जा रहा था तो उसके बदले मिला क्या यह सबसे बड़ा सवाल है।

गाडी में लगाई आग,सौंपा ज्ञापन

निवास में दो दिनों से बाजार को बंद रख कर आंदोलन किया जा रहा था आज निवास को जिला न बनाने के विरोध में गाडी जलाया गया भारी तादाद में मौजूद युवाओं ने राजा शंकर शाह कुंअर रघुनाथ शाह तिराहा में बाइक में आग लगा दी हालांकि पुलिस ने स्थिति को भांप कर फायर ब्रिगेड पहले से ही बुला लिया था गाड़ी में जैसे ही आग लगाई गई तुरंत पुलिस हरकत में आ गई आग पर काबू पा लिया गया हालांकि युवाओं ने पानी रोकने की भरपूर कोशिश की , इसके बाद राज्यपाल के नाम एसडीएम निवास को ज्ञापन सौंपा कर मांग की गई कि 2016-17 में राज्य शासन ने स्थानीय प्रशासन से प्रतिवेदन मांगा था जिसका जवाब जा चुका है उसके बाद भी घोषणा नहीं की गई है।

मुख्यमंत्री की घोषणाओं से मुश्किल में भाजपा

प्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की ताबड़तोड़ घोषणाओं ने ज़हां प्रदेश की राजनीति में उतर पुथल मचा रखी है तो दूसरी तरफ़ जिलों की घोषणाओं से कई तहसीलों में आंदोलनों का जन्म हो गया है सीएम के इस कदम से भाजपा को ही नुकसान हो रहा है भाजपा के संगठन को समझ नहीं आ रहा है कि वे कैसे इस मुद्दे से बचें जिला बनाने की मांग को समर्थन देने के अलावा उनके पास कोई विकल्प नहीं है मंडला जिले के नैनपुर में भी सड़को में मशाल जुलुश के रूप में दिखाई
दिया। अनवरत 45 दिनों से यह आंदोलन अब अपने पूरे शबाब पर है। विधानसभा चुनाव के एन पहले जिला नही तो वोट नही के नारों से जिले के ये दो ब्लाक सत्ताधारी दल के लिए बैचैनी पैदा कर रहे हैं मुख्यमंत्री की जिले की घोषणा मंडला जिले में भाजपा के लिए गले की फांस बन गई है। हालांकि भाजपा आंदोलन को अपना समर्थन दे रही है तो वहीं कांग्रेस अपने हाथों से यह मुद्दा जाने नहीं देना चाहती। निवास में दोनों ही दल एक दूसरे पर ठीकरा मढ़ते दिखे।

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